स्वप्न विज्ञान | Swapan Vigyan
- श्रेणी: मनोवैज्ञानिक / Psychological
- लेखक: गिरीन्द्र शेखर - Girindra Shekhar
- पृष्ठ : 118
- साइज: 4 MB
- वर्ष: 1942
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दो शब्द :
इस पाठ में स्वप्नों का विज्ञान और उनके पीछे छिपे भावनात्मक पहलुओं की चर्चा की गई है। लेखक डा. गिरीनद्र शेखर ने स्वप्नों के माध्यम से मानव मन की गहरी इच्छाओं और संघर्षों को उजागर किया है। स्वप्नों के प्रतीकात्मक अर्थ और उनकी व्याख्या कैसे की जा सकती है, इस पर प्रकाश डाला गया है। लेखक ने बताया है कि मन में छिपी इच्छाएँ, जो सामान्य जीवन में प्रकट नहीं हो पातीं, स्वप्नों के द्वारा व्यक्त होती हैं। उदाहरण के तौर पर, परिवार के सदस्यों के प्रति प्रेम और द्वेष की भावना स्वप्नों में विभिन्न रूपों में दिखाई देती है। स्वप्नों में आए विभिन्न दृश्य और प्रतीक, जैसे टूटे हुए मकान या गिरने वाली सीढ़ियाँ, मृत्यु या संकट के संकेत हो सकते हैं। लेखक ने यह भी स्पष्ट किया है कि स्वप्नों का विश्लेषण करना आवश्यक है ताकि हम अपने मन की गहरी इच्छाओं और डर का सामना कर सकें। स्वप्नों के अध्ययन से हमें यह समझने में मदद मिलती है कि हमारे अवचेतन मन में क्या चल रहा है। इस प्रकार, यह पाठ स्वप्नों के महत्व और उनके पीछे के मनोवैज्ञानिक संदेशों को समझने का प्रयास करता है, जिससे पाठक अपने जीवन और संबंधों में निहित जटिलताओं को पहचान सकें।
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